30 सितंबर तक करा लें जन धन अकाउंट की री-केवाईसी: ऐसा न
प्रधानमंत्री जन धन योजना (पीएमजेडीवाई) के 10 साल पूरे होने पर सरकार ने सभी खाताधारकों को 30 सितंबर तक री-केवाईसी कराने का निर्देश दिया है। यह कदम आरबीआई के नियमों के अनुसार उठाया गया है, जिसमें 10 साल बाद केवाईसी अपडेट करना अनिवार्य है। इस प्रक्रिया का उद्देश्य धोखाधड़ी रोकना और बैंकिंग सेवाओं को सुचारू रखना है। सरकारी बैंक ग्राम पंचायत स्तर पर विशेष कैंप लगाकर लोगों की मदद कर रहे हैं। यदि खाताधारक समय पर री-केवाईसी नहीं कराते हैं, तो उनके खाते बंद किए जा सकते हैं।
री-केवाईसी की आवश्यकता और प्रक्रिया
री-केवाईसी एक सरल प्रक्रिया है जिसमें खाताधारक अपनी व्यक्तिगत जानकारी जैसे नाम, पता और फोटो को अपडेट करते हैं। यह प्रक्रिया 2014-2015 में खोले गए खातों के लिए विशेष रूप से महत्वपूर्ण है, क्योंकि उनकी केवाईसी वैधता 10 साल की थी। री-केवाईसी न केवल खातों को सक्रिय रखने में मदद करती है, बल्कि यह वित्तीय सुरक्षा भी सुनिश्चित करती है।
- री-केवाईसी धोखाधड़ी रोकने में मदद करती है
- यह बैंकिंग सेवाओं की निरंतरता सुनिश्चित करती है
- खाताधारकों को अपनी जानकारी अपडेट करने का अवसर मिलता है
- यह आरबीआई के नियमों का अनुपालन सुनिश्चित करता है
सरकारी पहल और सुविधाएं
सरकार ने री-केवाईसी प्रक्रिया को सुगम बनाने के लिए कई कदम उठाए हैं। 1 जुलाई से 30 सितंबर, 2025 तक, सरकारी बैंक पूरे देश में ग्राम पंचायत स्तर पर विशेष कैंप लगा रहे हैं। ये कैंप खाताधारकों के घर जाकर री-केवाईसी करने की सुविधा प्रदान कर रहे हैं। अब तक लगभग 1 लाख ग्राम पंचायतों में कैंप लगाए जा चुके हैं, जिससे लाखों लोगों ने अपने खाते अपडेट किए हैं।
जन धन योजना की विशेषताएं और लाभ
प्रधानमंत्री जन धन योजना वित्तीय समावेशन का एक महत्वपूर्ण कदम है। इस योजना के तहत खोले गए खातों में कई लाभ शामिल हैं, जैसे रुपे डेबिट कार्ड, 1 लाख रुपये का दुर्घटना बीमा, और ओवरड्राफ्ट सुविधा। यह योजना उन लोगों के लिए विशेष रूप से लाभदायक है जिनके पास पहले कोई बैंक खाता नहीं था। खाता खोलने की प्रक्रिया बहुत सरल है और किसी भी बैंक शाखा, पोस
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