Bihar Bhumi: जमाबंदी में गड़बड़ी? ऑनलाइन आवेदन में दिक्कत? 20 सितंबर
बिहार सरकार ने राज्य के नागरिकों को भूमि संबंधी समस्याओं से राहत दिलाने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। राजस्व महा-अभियान के तहत, पंचायत स्तर पर विशेष शिविर लगाने की योजना बनाई गई है। यह पहल 20 सितंबर 2025 से पहले लागू की जाएगी, जिसका उद्देश्य है कि हर रैयत को अपनी भूमि संबंधी समस्याओं का समाधान मिल सके। इस कदम से राज्य के लाखों लोगों को लाभ मिलने की उम्मीद है, जो लंबे समय से भूमि विवादों और प्रशासनिक जटिलताओं से जूझ रहे हैं।
राजस्व महा-अभियान का विस्तार
राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने इस पहल के बारे में विस्तृत जानकारी दी है। विभाग के अनुसार, यह कदम उन क्षेत्रों में विशेष रूप से सहायक होगा जहां लोगों को आवेदन प्रक्रिया में कठिनाइयों का सामना करना पड़ रहा है या जमाबंदी में त्रुटियों की समस्या है। इन शिविरों का मुख्य उद्देश्य है:
- भूमि संबंधी विवादों का त्वरित समाधान
- जमाबंदी में त्रुटियों का सुधार
- आवेदन प्रक्रिया को सरल बनाना
- रैयतों को सीधे सहायता प्रदान करना
शिविरों की व्यवस्था और कार्यप्रणाली
ये विशेष शिविर पंचायतों और अंचलों में आयोजित किए जाएंगे। इससे ग्रामीण क्षेत्रों के लोगों को अपने घर के नजदीक ही सेवाएं मिल सकेंगी। शिविरों में राजस्व विभाग के अधिकारी मौजूद रहेंगे जो लोगों की समस्याओं को सुनेंगे और उनका समाधान करने का प्रयास करेंगे।
अपेक्षित प्रभाव और लाभ
इस पहल से बिहार के ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में भूमि प्रबंधन में सुधार की उम्मीद है। इससे न केवल व्यक्तिगत रैयतों को लाभ होगा, बल्कि राज्य के समग्र भूमि प्रशासन में भी सुधार आएगा। यह कदम भूमि विवादों को कम करने, प्रशासनिक बोझ को घटाने और लोगों का सरकार पर विश्वास बढ़ाने में मददगार साबित हो सकता है। साथ ही, यह पहल राज्य में डिजिटल भूमि रिकॉर्ड प्रणाली को मजबूत करने में भी सहायक होगी।
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