हिसार में अग्रसेन भवन ट्रस्ट के फैसले का विरोध: सदस्यों ने
हिसार में महाराजा अग्रसेन भवन ट्रस्ट द्वारा टेंट, लाइटिंग और डेकोरेशन का काम एक ही व्यक्ति को सौंपने के फैसले के विरोध में इवेंट एसोसिएशन के सदस्यों ने गुरुवार को दो घंटे का धरना दिया। प्रदर्शनकारियों का कहना है कि इस फैसले से लगभग 500 परिवारों की आजीविका प्रभावित होगी। ट्रस्ट के प्रधान ने बाद में कहा कि अगर इस फैसले से किसी को परेशानी है तो इसे वापस लिया जा सकता है। इस विवाद ने ट्रस्ट के कामकाज पर भी सवाल खड़े कर दिए हैं।
इवेंट एसोसिएशन का विरोध और मांगें
इवेंट एसोसिएशन के सदस्यों ने सुबह 10 बजे से दोपहर 12 बजे तक सांकेतिक धरना दिया। एसोसिएशन के अनूप बिंदल और सतीश गोयल ने बताया कि ट्रस्ट के इस निर्णय से:
- लगभग 500 परिवारों का रोजगार छिन जाएगा
- एक ही व्यक्ति मनमाने ढंग से अधिक शुल्क वसूल सकता है
- गरीब लोगों की मदद करने के मूल उद्देश्य से भटकाव होगा
अग्रसेन भवन का महत्व
प्रदर्शनकारियों ने याद दिलाया कि अग्रसेन भवन के लिए जमीन पूर्व मुख्यमंत्री चौधरी भजनलाल ने रियायती दरों पर दी थी। शहर के बीचों-बीच स्थित होने के कारण यहां अधिकतर लोग शादी-विवाह, भजन-कीर्तन और अन्य धार्मिक आयोजन करते हैं।
ट्रस्ट के भीतर असंतोष और जवाबदेही की मांग
इस बीच, ट्रस्ट के भीतर भी असंतोष सामने आया है। ट्रस्टियों ने जल्द ही एक बैठक बुलाने की बात कही है, जिसमें प्रधान से सभी बुकिंग और खर्च का ब्योरा मांगा जाएगा। उन्होंने बताया कि:
- 2013 के बाद से कोई बैठक नहीं हुई है
- प्रधान ने कोई हिसाब-किताब नहीं दिया है
- पिछले 12 वर्षों से चुनाव लंबित हैं
ट्रस्टियों ने सरकार से ट्रस्ट के खातों की जांच और चुनाव कराने की मांग की है। महाराजा अग्रसेन ट्रस्ट के प्रधान अंजनी कुमार ने कहा कि यह फैसला शादी करने वाले परिवारों के हित में लिया गया था, लेकिन अगर इससे किसी की रोजी-रोटी प्रभावित होती है तो वे इस निर्णय को वापस ले लेंगे।
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